Breaking News
सीएम धामी ने गृह मंत्री को भेंट की मुनस्यारी शॉल 
ग्राम्य विकास मंत्री गणेश जोशी ने ₹37 करोड़ की लागत के विभिन्न मोटर मार्गो का किया शिलान्यास 
बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी- ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ आखिरी के दोनों मुकाबले नहीं खेलेंगे मोहम्मद शमी
मिड-डे मील में छात्रों को परोसी जायेगी ईट राइट थाली
नाबालिग के साथ बर्बरता की हदें पार, बर्थ-डे पार्टी में बुलाकर नग्न कर पीटा, फिर चटवाया थूक
अरविंद केजरीवाल ने की एक और चुनावी घोषणा, दिल्ली में 24 घंटे मिलेगा साफ पानी
महेश बाबू की फिल्म एसएसएमबी 29 पर आया बड़ा अपडेट, जनवरी में शुरु होगी शूटिंग
नगर निकाय चुनाव में दम आजमाने वाले नेताओं को अब देना होगा अपना आपराधिक ब्योरा
26 दिसंबर को वीर बाल दिवस के मौके पर दिए जाएंगे ‘प्रधानमंत्री बाल पुरस्कार’ 

मुख्यमंत्री धामी ने आगामी मानसून की तैयारियों की बैठक में अधिकारियों को दिये निर्देश

मरीजों और गर्भवती महिलाओं के लिए आपातकालीन स्थिति में हेली एम्बुलेंस की व्यवस्था रखी जाए – मुख्यमंत्री

देहरादून। मानसून को देखते हुए 15 जून से पहले सभी तैयारियां पूर्ण की जाय। सभी विभाग 15 जून तक आपदा प्रबंधन के लिए नोडल अधिकारियों की तैनाती करना सुनिश्चत करें। एसटीपी प्लांट और पुराने पुलों का सेफ्टी ऑडिट किया जाए। यह सुनिश्चित किया जाए कि बिजली की तारों से कोई घटना घटित न हो। मानसून सीजन के दृष्टिगत मरीजों और गर्भवती महिलाओं के लिए आपातकालीन स्थिति में हेली एम्बुलेंस की व्यवस्था रखी जाए। स्वास्थ्य विभाग द्वारा सभी गर्भवती महिलाओं को चिन्हित किया जाए। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सचिवालय में आगामी मानसून की तैयारियों की बैठक के दौरान ये निर्देश अधिकारियों को दिये।

मुख्यमंत्री ने कहा कि अतिवृष्टि से पिछले सालों में क्या चुनौतियां सामने आई और किन-किन क्षेत्रों में अधिक आपदाएं आई एवं इस तरह की चुनौतियों का सामना करने के लिए शासन और जनपद स्तर पर क्या तैयारियां की गई हैं, इसका पूरा एक्शन प्लान प्रस्तुत किया जाए। उन्होंने निर्देश दिये कि यह सुनिश्चित किया जाए कि मौसम के पूर्वानुमान की सटीक जानकारी लोगों तक समय पर पहुंचे। मौसम के पूर्व चेतावनी के आधार पर लोगों को नियमित रूप से अलर्ट मोड पर रखें। उन्होंने कहा कि मौसम के पुर्वानुमान और जन जागरूकता से अतिवृष्टि और आपदा के प्रभाव को कम करने पर विशेष ध्यान दिया जाए।

मुख्यमंत्री ने सभी जिलाधिकारियों को निर्देश दिये कि जनपदों में ऐसे क्षेत्र जहां भू-स्खलन की समस्याएं रहती हैं, उन्हें चिन्हित कर जो भी आवश्यक व्यवस्थाएं करवाने की आवश्यकता है, समय पर की जाए। जिन क्षेत्रों में बरसाती नदी और नाले उफान पर आते हैं, उनके लिए भी वैकल्पिक व्यवस्थाओं के लिए अभी से प्लान बना कर रखे जाएं। मानसून के दृष्टिगत विभिन्न कार्यों के लिए शासन स्तर से जो धनराशि की आवश्यकता है, उसका यथाशीघ्र प्रस्ताव भेजा जाए। अतिवृष्टि के कारण फसलों को होने वाले नुकसान का तुरंत आकलन कर मानकों के अनुसार यथाशीघ्र क्षतिपूर्ति की व्यवस्था रखी जाए। मानसून के दृष्टिगत पर्वतीय जनपदों में आवश्यक दवाओं, खाद्य सामग्री एवं अन्य मूलभूत आवश्यकताओं से संबंधित सभी व्यवस्थाएं पर्याप्त मात्रा में रखी जाए। आपदा कि स्थिति में रिस्पांस टाइम कम से कम रखा जाए। मानसून अवधि में सभी जिलाधिकारी मौसम के पूर्वानुमान के अनुसार अपने जनपदों में विद्यार्थियों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए आवश्यकतानुसार छुट्टी की घोषणा करें, स्कूल जाने के पैदल मार्गों में नदी और नाले वाले स्थानों पर वैकल्पिक मार्ग तलाशे जाएं। हर जनपद में बड़े रपटे चिन्हित किये जाएं एवं वहां पर सुरक्षा की दृष्टि से सभी आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाए।

मुख्यमंत्री ने बैठक में अधिकारियों को निर्देश दिये कि आपदा के दृष्टिगत त्वरित राहत एवं बचाव कार्य के लिए हेलीकॉप्टर की व्यवस्था रखी जाए। आपदा प्रबंधन की दृष्टि से अल्मोड़ा जनपद के सरियापनी में एसडीआरएफ बटालियन खोलने के निर्देश मुख्यमंत्री ने दिये। मुख्यमंत्री ने कहा कि आपदा प्रबंधन की दृष्टि से विभिन्न विभागों द्वारा शासन से जो धनराशि की मांग की जा रही है, वह धनराशि यथाशीघ्र संबंधित विभागों को दी जाए। जिलाधिकारियों द्वारा भी विभिन्न पदों में जो धनराशि की मांग की जा रही है, उन्हें भी शीघ्र धनराशि अवमुक्त की जाए। जिन विभागों को पहले की धनराशि अभी तक अवमुक्त नहीं हुई है, वह शीघ्र दी जाए, इस कार्य में किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जायेगी। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिये कि मानसून अवधि में सड़कें, विद्युत और पेयजल लाईन बाधित होने की स्थिति में उनकी सुचारू व्यवस्थाओं के लिए रिस्पांस टाईम कम से कम रखा जाए और वैकल्पिक व्यवस्थाएं भी सुनिश्चित की जाएं। उन्होंने निर्देश दिये कि अतिवृष्टि से पिछले वर्ष के जो कार्य अभी तक पूर्ण नहीं किये गये हैं, उन्हें 15 जून तक पूर्ण किया जाए।

बैठक में उपाध्यक्ष अवस्थापना अनुश्रवण परिषद् विश्वास डाबर, मुख्य सचिव श्रीमती राधा रतूड़ी, अपर मुख्य सचिव आनन्द बर्द्धन, प्रमुख सचिव आर. के सुधांशु, एल. फैनई, डीजीपी अभिनव कुमार, प्रमुख वन संरक्षक डॉ. धनंजय मोहन, सचिव आर. मीनाक्षी सुदंरम, शैलेश बगोली, अरविन्द सिंह ह्यांकी, दिलीप जावलकर, सचिन कुर्वे, गढ़वाल कमिश्नर विनय शंकर पाण्डेय, सचिव आर. राजेश कुमार, एस.एन.पाण्डेय, विनोद कुमार सुमन, विभिन्न विभागों के वरिष्ठ अधिकारी, वर्चुअल माध्यम से कुमांऊ कमिश्नर दीपक रावत एवं सभी जिलाधिकारी उपस्थित थे।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back To Top